Tuesday 30 July 2013

mohabbat meiN bhoolna ..


  1. मैं मान ही नहीं सकता कि तुम्हे है इसकी बाबत ज़रा भी इल्म /
    मोहब्बत के बारे में पढ़ लेने भर से कहाँ इसका पता चलता है

  2. ------------------------------
    वो जो ऐलान कर डाला था तूने
    न मिलने का कभी भी मुझसे /
    काश तेरे और वादों की तरह
    वो भी झूटा निकल जाता
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